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मेरा पालतू कुत्ता निबंध (My Pet Dog Essay in Hindi) - 100, 200, 500 शब्दों में

मेरा पालतू कुत्ता निबंध (My Pet Dog Essay in Hindi) - 100, 200, 500 शब्दों में

Edited By Mithilesh Kumar | Updated on Mar 15, 2024 11:01 AM IST
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मेरा पालतू कुत्ता निबंध (My Pet Dog Essay in Hindi) - मनुष्य एक सामाजिक प्राणी है, इसके बावजूद इसे सहजातियों के अलावा अन्य जीवों से सदैव विशेष लगाव रहा है। दूसरे जीवों को अपने साथ रखकर मनुष्य को एक अलग संतोष और सुख की अनुभूति होती है। जीवन के खालीपन को दूर करने और स्वयं को व्यस्त रखने के लिए इंसान पशु-पक्षियों और दूसरे जीवों को अपने साथ रखकर पालते हैं, इन जीवों को पालतू जीव कहा जाता है और इनकी सभी जरूरतों का ध्यान पालक द्वारा रखा जाता है।
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मेरा पालतू कुत्ता निबंध (My Pet Dog Essay in Hindi) - 100, 200, 500 शब्दों में
मेरा पालतू कुत्ता निबंध (My Pet Dog Essay in Hindi) - 100, 200, 500 शब्दों में

बेहद चौकन्ने रहने वाले श्वान को पालतू बनाने से मनुष्य बेहद फायदे में रहा है। कुत्ते के विशेष गुण उन्हें अन्य जानवरों से अलग करते हैं। उनकी सूंघन की शक्ति बेहद सटीक होती है। पुलिस भी अपराधियों को पकड़ने में कुत्तों की मदद लेती है। विशेष प्रजाति के कुत्तों को इसके लिए खास ट्रेनिंग दी जाती है। इस कारण दुर्घटना, भूकंप आदि प्राकृतिक आपदा आने की स्थिति में ये पुलिस और राहत व बचाव में लगे कर्मियों के लिए मददगार होते हैं। ये मलबे में दबे लोगों को सूंघकर लोगों की जान बचाने में मदद करते हैं। कुत्तों को मानव का पालतू पशु कहने के बजाय मानव का सच्चा मित्र कहना अधिक श्रेयस्कर होगा।

मेरा पालतू कुत्ता निबंध (My Pet Dog Essay in Hindi) - दोस्ती और वफादारी की मिसाल

पालतू जानवर इंसानों के सबसे करीब होते हैं। मनुष्य अपनी सुविधा और जरूरत के अनुसार पालतू जानवरों को अपने वातावरण, लगाव और व्यस्त जीवन की दिनचर्या के अनुसार चुन सकते हैं। गांवों में लोग पालतू जानवर के रूप में गाय, भैंस, बकरी, बैल आदि रखते हैं। आम तौर पर पाले जाने वाले जानवरों में कुत्ते, बिल्लियाँ, खरगोश और पक्षियों को लोग अधिक पसंद करते हैं। यहां 'मेरा पालतू कुत्ता' विषय पर कुछ नमूना निबंध दिए गए हैं। इसकी मदद से आप निबंध लिख सकते हैं।

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मेरे पालतू कुत्ते पर 100 शब्दों का निबंध (100 Words Essay On My Pet Dog in Hindi)

बच्चों को पालतू कुत्ते पर निबंध (Kutte par nibandh) या कुत्ते पर लेख (kutte par lekh) लिखने को कहा जाता है। उसे इस प्रकार से लिख सकते हैं। पालतू जानवर के रूप में कुत्ते एक अच्छा विकल्प हैं क्योंकि वे अपने पालक के प्रति बेहद वफादार होते हैं। वे हमेशा मालिक के साथी की भूमिका में होने के साथ ही रक्षक का किरदार भी बखूबी निभाते हैं। कुत्तों को श्वान भी कहा जाता है। हल्की सी आहट से सोते से उठ जाने वाली अपनी खूबी के चलते श्वान निद्रा को विद्यार्थियों के लक्षणों में जगह दी गई है। विद्यार्थी को श्वान की तरह सोने वाला होना चाहिए-

काक चेष्टा, बको ध्यानं, श्वान निद्रा तथैव च।

अल्पहारी, गृहत्यागी, विद्यार्थी जीवन पंच लक्षणं।।

सड़क के कुत्तों और अन्य लोगों के पालतू कुत्तों के प्रति अपने स्नेह को महसूस करने के बाद मैंने भी एक पालतू जानवर के रूप में कुत्ता पालने का फैसला किया। कुत्तों को इंसान का सबसे अच्छा दोस्त माना जाता है। पहले मैं ये निर्धारित नहीं कर पा रहा था कि कुत्ते की कौन सी नस्ल चुनूँ, लेकिन अंत में मैंने पॉमेरियन (Pomeranian) नस्ल का कुत्ता घर लाने का फैसला किया। मैं अलग-अलग रंग के पॉमेरियन कुत्तों को देखने के लिए एक पालतू जानवर की दुकान पर गया। फिर मैंने एक मनमोहक भूरे रंग का पॉमेरियन कुत्ता चुना। मैंने उसका नाम 'शेरू' रखा, जब मैं उसे घर ले गया तो वह केवल एक महीने का था।

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मेरा पालतू कुत्ता पर 200 शब्द का निबंध (200 Words Essay On My Pet Dog in Hindi)

कुत्ते ही एकमात्र ऐसे जानवर हैं जो अपने मालिकों से बेपनाह प्यार करते हैं। वे उनके साथ खेलते हैं। उनके बाहर जाने पर गेट तक जाते हैं। वापस आने पर आहट से महसूस कर लेते हैं। उन्हें अपना प्यार जताते हैं। वे अपने मालिकों पर पूरा भरोसा करने लगते हैं। जिस दिन मैं कुत्ता लाने के लिए दुकान में गया, दुकानदार ने मुझसे पूछा आप कुत्ता क्यों लेना चाहते हैं? मैंने उनको बताया कि मुझे कुत्तों से विशेष लगाव है। ये घर की रखवाली भी करते हैं। कुत्ते अपने मालिकों के साथ खेलते हैं। उन्हें टहलाने के लिए ले जाना होता है। और, सबसे महत्वपूर्ण बात, उनके साथ नियमित टहना और खेलना हमें स्वास्थ बनाए रखने में भी मदद करता है।

मालिक अपने कुत्ते को जो सिखाते हैं, वह उस पर अमल करते हैं। कुत्ते बेहद वफादार होते हैं। हमने दुकानदार से कुत्तों के बारे में कई नई जानकारियां हासिल की। इसमें उनकी देखरेख से लेकर दिनचर्या तक की बातें शामिल थीं। हम एक कुत्ता लेकर घर पहुंचे। वह बहुत प्यारा था। मैंने उसका नाम जंबो रखा। घर पहुंचकर हमने उसके रहने के लिए एक जगह तय की। उसके भोजन के लिए हमने दुकान से स्पेशल फूड ले लिया था। घर में वह दूध-रोटी खाता है। उसके आने से घर में रौनक आ गई थी।

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मेरा पालतू कुत्ता पर 500 शब्द का निबंध (500 Words Essay On My Pet Dog in Hindi)

कुत्ता सबसे वफादार जानवर माना जाता है। समय-समय पर इसकी बानगी हमें खबरों में देखने-सुनने को मिलती रहती है। कुत्ता अपनी जान पर खेलकर अपने मालिक का बचाव करता है। कुत्ता घर की रखवाली के लिए सबसे उपयुक्त जानवर माना जाता है। कोराेना काल के दौरान जब सड़कें सूनी हो गई थीं। लोग घरों से बाहर नहीं निकल रहे थे, उस दौरान मुझे अपनी ड्यूटी पर लगातार जाना पड़ता था। उस दौरान मुझे महसूस हुआ कि गली के कुत्तों को खाने के लिए काफी संकट का सामना करना पड़ा।

कुत्ते गाड़ी को देखकर लपक पड़ते। फिर मुझे महसूस हुआ कि यह वे भोजन की चाह में कर रहे हैं। फिर मैं अक्सर अपने साथ बिस्कुट के पैकेट रखने लगा। जहां कुत्ते मिलते, मैं उन्हें बिस्कुट देता। वे खुशी-खुशी खाते। कई जगह तो ऐसा हुआ कि वे नियत समय पर इंतजार करने लगे। वे पीछे-पीछे कुछ दूर तक जाते। इस तरह कुत्तों के प्रति मेरा लगाव बढ़ा। इसको देखते हुए मैंने भी एक कुत्ता पालने का फैसला किया। इस निर्णय से परिवार के सभी सदस्यों ने सहमति जताई।

सभी लोग परिवार में नए सदस्य के आने की बात सुनकर रोमांचित थे। हम जानवरों की दुकान से कुत्ता लेने गए। वहां तरह-तरह की नस्ल के कुत्ते थे। उनकी लंबाई-चौड़ाई, डील-डौल, रूप-रंग सब अलग-अलग थे। मैंने एक रोटवीलर नस्ल का कुत्ता पसंद किया। वह एक महीने का बच्चा था। देखने में बड़ा प्यारा था। आम तौर पर यह कुत्ते बड़े होने पर काफी खूंखार लगते हैं। लेकिल वह पिल्ला मेरे साथ खेलने लगा और मुझे चाटने लगा। उसे अपने साथ घर ले जाने का निर्णय लेने के बाद, हम उसका भोजन, मिठाइयाँ, पट्टे, खिलौने और शैम्पू खरीदने के लिए आगे बढ़े। उसके केयर से जुड़ीं बातें दुकानदार ने बताई।

जब हम घर जा रहे थे तब पूरे समय वह कार में मेरे बगल में बैठा रहा और दृश्यों का आनंद ले रहा था। मुझे ऐसा लगा कि उसने शायद सोचा होगा कि वह अब बाहरी दुनिया में अपने जीवन का आनंद ले सकता है।

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कुत्ते के साथ घर पर पहला अनुभव (First Experience At Home with dog in hindi)

घर लौटने के बाद शुरू में उन्हें अपरिचित वस्तुओं, गंधों और वातावरण से कुछ डर महसूस हुआ, लेकिन समय के साथ उन्हें हर चीज से लगाव हो गया। वह बिस्तर, सोफ़े पर कूद रहा था और उन खिलौनों से खेल रहा था जो हमने उसके लिए खरीदे थे। कुछ समय बाद, उसने भौंकना शुरू कर दिया और चूँकि यह उसके साथ मेरा पहला दिन था, मुझे पता नहीं था कि उसने ऐसा तब किया जब वह भूखा था। खाना ख़त्म करने के बाद वह दो से तीन घंटे के लिए सो गया। जब वह सो रहा था तो मैंने और मेरे परिवार ने उसके ट्रेनर के बारे में बात की ताकि वह नए काम सीख सके। जब वह सो रहा था तो मैं उसे देख रहा था और सोच रहा था कि घर का माहौल कैसे बदल गया है। घर का माहौल अब हर्षित, आनंदमय और मनोरंजक था। वह अब हमारे परिवार का सदस्य है।' वह बाहरी लोगों को देखकर भौंकने लगता है। लेकिन जैसे ही उसे मेरी ओर से चुप होने का इशारा मिलता है। वह शांत हो जाता है। वह मेरी बात समझने लगा है।

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कुत्ते पर 10 पंक्तियां लिखें (10 Lines on Dog in Hindi)

कई बार बच्चों को कुत्ते पर निबंध (Kutte par nibandh) या कुत्ते पर लेख (kutte par lekh) के तौर पर 10 लाइनें लिखने को कहा जाता है। बच्चे इसे इसप्रकार से लिख सकते हैं-

1. कुत्ता एक पालतू और वफादार जानवर होता है।

2. कुत्ते का जीवनकाल आम तौर पर 10 से 13 वर्ष तक होता है।

3. कुत्ते के चार पैर, दो आंख और दो कान होते हैं।

4. लोग कुत्ते को घर की रखवाली के लिए पालते हैं।

5. कुत्ता घर और सड़कों पर पाया जाता है।

6. कुत्ता रोटी, दूध, मांस, चावल और अन्य चीजें खाता है।

7. कुत्ता अपने मालिक के साथ बहुत जल्दी घुल-मिल जाता है।

8. कुत्ते के बच्चे को पिल्ला कहते हैं और यह कई रंग के होते हैं।

9. पिल्ले के 24 दांत होते हैं जबकि जवान कुत्ते के 42 दांत होते हैं।

10.कुत्ते की सूंघने की क्षमता अद्भुत होती है।

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कुत्ते के बारे में रोचक जानकारी (Interesting information about dogs in hindi)

कुत्ता के लिए कई पर्यायवाची शब्द हैं। इनमें प्रमुख हैं- सारमेय, सोनहा, शुनक, गंडक, श्वान,कुक्कुर आदि। कुत्तों को पटाखों से बहुत डर लगता है। कुत्ते कभी-कभार रोते हैं और यह मान्यता है कि कुत्तों का रोना अशुभ होता है। कुत्तों का रोना प्राकृतिक विपदाओं के सूचक होता है। लोग शौक भी कुत्ते पालते हैं। कुत्तों में कई प्रजाति पाई जाती है। देसी कुत्ते गलियों में आवारा घूमते पाए जाते हैं।

कुछ लोग देसी कुत्तों को पालते भी हैं। विदेशी नस्ल के कुत्तों में कई प्रजाति होती है। इनमें कुछ बहुत आकर्षक और कुछ बहुत खूंखार व डरावने होते हैं। दुनिया में कुत्तों की 500 से अधिक प्रजाति पाई जाती है। दुनिया में सबसे बुद्धिमान नस्ल का कुत्ता लैब्राडोर है। सबसे शक्तिशाली नस्ल कंगाल और तिब्बतन मस्टीफ है लेकिन यह बुद्धिमान नहीं होता और इस नस्लों को पालना कठिन भी है। जर्मन शेफर्ड घरेलू पालतू नस्ल के कुत्ते में थोड़ा बुद्धिमान भी है और शक्तिशाली भी। लैब्राडोर नस्ल के कुत्ते बहुत ही अनुशासित और होशियार होते हैं। सेना और पुलिस में इनका उपयोग होता है। जर्मन शेफर्ड, बुलडॉग, बिगल्स, पग, पूडल प्रजाति के कुत्ते भी पाले जाते हैं।

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कुत्तों से संबंधित कुछ मुहावरे और कहावतें (some proverbs/idioms about dogs in hindi)

कुत्तों को लेकर कई तरह की कहावतें मशहूर हैं। आइए उन कहावतों और उनके अर्थ जानते हैं-

1.धोबी का कुत्ता घर का न घाट का।

अर्थ- कहीं का न रहना।

2. बासी बचे न कुत्ता खाय।

अर्थ- जरूरत भर की चीज होना।

3. कुत्ते को घी नहीं पचता।

अर्थ-ओछे या तुच्छ को कोई अच्छी वस्तु मिल जाए तो वह उसे संभाल नहीं सकता।

4. घर जवांई कुत्ते बराबर।

अर्थ-सम्मान न होना।

5. भौंकने वाले कुत्ते कभी काटते नहीं।

अर्थ- जो व्यक्ति हमेशा धमकी देता है वह कभी कोई कार्रवाई नहीं करता।

6 . कुत्ते को हड्डी प्यारी।

अर्थ- जिसको जो वस्तु पसंद हो उसे वही अच्छी लगती है।

7. सीधे का मुँह कुत्ता चाटे।

अर्थ- सीधे मनुष्य का नाजायज़ फायदा सभी उठा लेते हैं।

8. कुत्ते की तरह दुम (पूंछ) हिलाना।

अर्थ- ख़ुशामद में हरदम लगे रहना।

9. कुत्ते की दुम कभी सीधी नहीं होती।

अर्थ- किसी का स्वभाव नहीं बदला जा सकता।

10. खौरही कुतिया मखमली झूल।

अर्थ- जब कोई कुरूप मनुष्य बहुत शौक-शृंगार करता है या सुन्दर वेशभूषा धारण करता है।

11. किस्मत खराब हो तो ऊंट पर बैठे इंसान को भी कुत्ता काट लेता है।

अर्थ - ऐसा देखा तो गया है कि कई बार सब प्रकार की सावधानी बरतने पर भी अहित हो जाता है।

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